देश में अग्निपथ योजना (agneepath scheme) के खिलाफ युवाओं में आक्रोश नजर आ रहा है. इस बीच राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार(NAS) अजीत डोभाल (ajit doval)ने अग्निपथ योजना (agneepath yojana)को लेकर सरकार का पक्ष रखा. उन्होंने इस योजना को समय की जरूरत बताया और कहा कि बदलते समय के साथ सेना में बदलाव जरूरी है. डोभाल ने आगे कहा," युद्ध अब बड़े बदलाव से गुजर रहे हैं. हम संपर्क रहित युद्धों की ओर जा रहे हैं और हमारी लड़ाई अदृश्य शत्रुओं से है, हथियारों की जगह टेक्नोलॉजी का सहारा लिया जा रहा है. इसलिए अगर हमें कल की तैयारी करनी है तो हमें खुद को बदलना होगा.
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उन्होंने कहा कि भारत के आसपास माहौल बदल रहा है. तकनीक तेजी से बदल रही है. हम कल जो कर रहे थे वो आज भी करते रहें तो हम सुरक्षित रहेंगे यह संभव नहीं है. अगर कल की तैयारी करनी है तो हमें बदलाव करना होगा. अग्निपथ को लेकर एनएसए ने कहा कि ये अपने आप में एक स्टैंडअलोन योजना नहीं है. साल 2014 में PM मोदी सत्ता में आए थे, तो भारत को सुरक्षित और मजबूत बनाना उनकी प्रमुख प्राथमिकताओं में से एक है विजन रहा है.
अग्निवीर को लेकर एनएसए ने कहा कि वो कभी भी पूरी सेना तो नहीं होंगे, लेकिन जो अग्निवीर नियमित होते जाएंगे, वे गहन ट्रेनिंग से गुजरेंगे. समय के साथ उन्हें अनुभव मिलेगा. सेना में सेना में चार साल बिताने के बाद जब अग्निवीर वापस जाएंगे तो समाज के अन्य नागरिकों की तुलना में अधिक स्किल्ड व ट्रेंड होंगे. जब पहला अग्निवीर रिटायर होगा तो वह 25 साल का होगा. तब भारत की इकोनॉमी 5 ट्रिलियन डॉलर की होगी. भारत को ऐसे ही लोगों को जरूरत होगी. डोभाल ने कहा कि आज भारत में बनी AK-203 के साथ नई असॉल्ट राइफल को सेना में शामिल किया जा रहा है यह दुनिया की सबसे अच्छी असॉल्ट राइफल है मिलिट्री इक्विपमेंट में बहुत डेवलपमेंट किए जा रहे हैं.
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प्रदर्शन को लेकर डोभाल ने कहा कि , देश में दो तरह के प्रदर्शन हो रहे हैं। एक तो वे हैं जिन्हें देश की चिंता है. जब भी कोई बदलाव आता है कुछ चिंताएं उसके साथ आती हैं. हम इसे समझ सकते हैं. जैसे-जैसे उन्हें पूरी बात का पता चल रहा है वे समझ रहे हैं. जो दूसरा वर्ग है उन्हें न राष्ट्र से कोई मतलब है, न राष्ट्र की सुरक्षा से मतलब है. वे समाज में टकराव पैदा करना चाहते हैं। वे ट्रेन जलाते हैं, पथराव करते हैं, प्रदर्शन करते हैं। वे लोगों को भटकाना चाहते हैं.