Parliament: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (amit shah) ने राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली सरकार (संशोधन) विधेयक, 2023 (Delhi Service Bill) को विचार और पारित करने के लिए लोकसभा के पटल पर रखा. उन्होंने कहा, संविधान में ऐसे प्रावधान हैं जो केंद्र को दिल्ली के लिए कानून बनाने की अनुमति देते हैं.
उन्होने कहा कि दिल्ली को पूर्ण राज्य का दर्जा नहीं मिला है इसलिए इस पर कानून बनाने का अधिकार केन्द्र को है. उन्होने कहा कि विपक्ष ने बिल को सुप्रीम कोर्ट के आदेश के खिलाफ बताया लेकिन ऐसा नहीं है.
केन्द्रीय गृहमंत्री शाह ने कहा कि जवाहरलाल नेहरू, सरदार पटेल और बाबा साहेब भीमराव आंबेडकर ने भी दिल्ली को पूर्ण राज्य का दर्जा देने का विरोध किया था.
इस पर कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि आज शाह जब संसद में आये तो अच्छा लग रहा है कि वो बार बार नेहरू और कांग्रेस की तारीफ कर रहे हैं.
आपको बता दें कि संसद में गृहमंत्री शाह ने कहा कि बीजेपी और कांग्रेस के बीच इस मुद्दे पर कभी झगड़ा नहीं हुआ चाहे बीजेपी केन्द्र में रही हो या राज्य में अथवा कांग्रेस केन्द्र में रही हो या राज्य में लेकिन इस मुद्दे पर कभी कांग्रेस और बीजेपी नहीं लड़े.
उन्होने दिल्ली सरकार पर आरोप लगाया कि इसका मकसद सिर्फ लड़ना है, सेवा करना नहीं. इस दौरान उन्होने बगैर नाम लिए सीएम केजरीवाल पर तंज कसे. उन्होने कहा कि ट्रांसफर-पोस्टिंग सिर्फ समस्या नहीं है बल्कि अपने बंगले बनाने और भ्रष्टाचार को छिपाने के लिए सतर्कता विभाग पर कब्जा करना है.
आपको बता दें कि लोकसभा में बीजेडी और टीडीपी ने केन्द्र के समर्थन का ऐलान किया है जबकि बीएसपी ने यू टर्न लेते हुए बायकॉट करने की बात कही है.
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