राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत (RSS chief Bhagwat) ने कहा कि शिक्षा और स्वास्थ्य (education and health) दोनों ही हर व्यक्ति की मूलभूत जरूरत है पर दोनों ही महंगी और दुर्लभ हो रही हैं. इसकी वजह जनसंख्या के मुताबिक उपलब्धता की कमी और व्यावसायिकता है. इसके लिए समाज को आगे आना होगा.
भागवत ने कहा कि अंग्रेजों ने हमारी शिक्षा व्यवस्था को ध्वस्त करके अपनी शिक्षा हमारे देश में लागू की, जिससे अशिक्षा और कई अन्य समस्याएं बढ़ीं. अंग्रेजों से पहले हमारे देश की 70 प्रतिशत जनसंख्या साक्षर थी. बेरोजगारी नहीं थी, उस समय इंग्लैड की साक्षरता 17 प्रतिशत थी. उन्होंने कहा कि आधुनिक ज्ञान का पूरा उपयोग किया जाना चाहिए, लेकिन अच्छी शिक्षा और चिकित्सा सबको को कैसे मिले, इस पर हमें काम करना चाहिए. रविवार को करनाल में श्री आत्म मनोहर जैन बहुविशेषीय चिकित्सालय के लोकार्पण के मौके पर उन्होने ये बातें कहीं