केरल हाईकोर्ट ने चुपचाप अकेले पोर्न देखने को अश्लीलता मैंने से इंकार कर दिया है.इस संबंध में केरल हाईकोर्ट पिछले हफ्ते एक व्यक्ति के खिलाफ शुरू हुई कार्यवाही को रद्द कर दिया है. आरोपी व्यक्ति को पुलिस ने सड़क किनारे अश्लील वीडियो देखते हुए गिरफ्तार किया था.
केरल हाईकोर्ट के जस्टिस जस्टिस पीवी कुन्हिकृष्णन ने मामले की सुनवाई करते हुए कहा कि जस्टिस पीवी कुन्हिकृष्णन ने कहा कि निजी तौर पर किसी के फोन पर अश्लील तस्वीरें या वीडियो को डिस्ट्रिब्यूट या सार्वजनिक रूप से प्रदर्शित किए बिना देखना आईपीसी के तहत अश्लीलता के अपराध को आकर्षित नहीं करेगा. इसमें कहा गया है कि ऐसी सामग्री देखना किसी व्यक्ति की निजी पसंद है और अदालत उसकी निजता में दखल नहीं दे सकती.