दिल्ली (Delhi) के डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) के पीए देवेंद्र शर्मा को पूछताछ के बाद प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने छोड़ दिया है. बताया जा रहा है कि ईडी ने 10 घंटे की पूछताछ के बाद उन्हें पिछले दरवाजे से निकाला गया. देवेंद्र शर्मा (Devendra Sharma) के पिता बाल किशन शर्मा के मुताबिक ईडी की टीम सुबह लगभग 10 बजे देवेंद्र को अपने साथ लेकर गई थी.
इससे पहले मनीष सिसोदिया ने खुद इस बात की जानकारी अपने ट्विटर अकाउंट के जरिए दी थी, जिसमें सिसोदिया ने बताया था कि प्रवर्तन निदेशालय ने उनके पीए को हिरासत में ले लिया है. सिसोदिया ने कहा कि झूठी एफआईआर दर्ज कर उनके घर पर छापेमारी की गई, बैंक लॉकर की तलाशी ली गई लेकिन उनके खिलाफ कहीं कुछ नहीं मिला. आज मेरे पीए के घर पर ईडी की रेड करवाई, और जब वहां भी कुछ नहीं मिला तो अब उनको भी गिरफ़्तार करके ले गये.
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बताया जा रहा है कि ईडी ने सिसोदिया के पीए को गिरफ्तार करने से पहले दिल्ली-एनसीआर में कम से कम पांच जगहों पर रेड की और इसके बाद शर्मा को पूछताछ के लिए अपने साथ लेकर गई. वहीं, बीजेपी ने सिसोदिया के आरोपों का जवाब देते हुए कहा कि अगर आप या आपका पीए निर्दोष हैं, तो अदालत में जाएं और अपनी एफआईआर रद्द करवाएं. बीजेपी ने आम आदमी पार्टी पर विक्टिम कार्ड खेलने का आरोप लगाया. बीजेपी ने आप पर तंज कसते हुए कहा कि हम सभी के पास आधार कार्ड, पैन कार्ड, वोटर आईडी कार्ड है लेकिन इस पार्टी के पास पीड़ित कार्ड है.
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दरअसल, राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में शराब नीति घोटाला मामले (Delhi Excise Policy Case) में ईडी एकबार फिर से एक्शन में नजर आ रही है. जिसकी वजह से दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया भी इस मामले में घिरते हुए नजर आए हैं और आरोपी भी हैं. इसी को लेकर सीबीआई ने सिसोदिया से 9 घंटे लंबी पूछताछ भी की थी. इससे पहले सीबीआई ने इस घोटाले को लेकर सिसोदिया के एक सहयोगी विजय नायर को भी गिरफ्तार किया था.
वहीं, आम आदमी पार्टी ने इस मामले को राजनीतिक बताया है और दावा किया कि बीजेपी सरकार दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के राष्ट्रीय विकल्प के रूप में उभरने से डरी हुई है. इसलिए आम आदमी पार्टी के नेताओं को झूठे मामलों में फंसाकर उन्हें परेशान किया जा रहा है. आम आदमी पार्टी का कोई भी नेता बीजेपी की इन करतूतों से डरने वाला नहीं है.