Dharm sansad in Prayagraj: छत्तीसगढ़ और उत्तराखंड के बाद अब संगम नगरी प्रयागराज में भी धर्म संसद आयोजित हुई. हर बार की तरह इसबार भी इस धर्म संसद को लेकर विवाद हो गया है. भारत सरकार के सामने कुछ बड़े प्रस्ताव रखे गए हैं. पहले प्रस्ताव में धर्म संसद में मौजूद संतों ने भारत को हिंदू राष्ट्र (Hindu Rashtra) घोषित करने की बात कही है. दूसरे प्रस्ताव में धर्मांतरण के मामलों को पूरी तरह से रोकने के लिए कानून को और सख्त किए जाने की मांग की गई और धर्मांतरण कराने वालों को फांसी की सजा दिए जाने की मांग की गई.
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धर्म संसद के आयोजक स्वामी आनंद स्वरूप ने कहा कि अगर स्वामी यति नरसिंहानंद और जितेंद्र त्यागी को जेल से रिहा नहीं किया गया तो खतरनाक अंजाम भुगतने होंगे. एक हफ्ते में दोनों को जेल से रिहा ना होने पर उग्र आंदोलन शुरू किया जाएगा.
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि जगतगुरु शंकराचार्य नरेंद्रानंद सरस्वती ने कहा कि हम अपने देवी-देवताओं से शिक्षा ग्रहण कर अपने हाथों में अस्त्र शस्त्र धारण करें. उन्होंने यहां तक कह दिया कि रोको, टोको और ना मानने पर ठोक दो.