राजस्थान (Rajasthan) के कोटा (Kota) में एक हॉस्टल में आग लगने के मामले में नगर निगम ने कार्रवाई की है और हॉस्टल को सीज कर दिया है. साथ ही पुलिस ने हॉस्टल मालिक पर मुकदमा दर्ज कर लिया है. बता दें कि रविवार सुबह ट्रांसफॉर्मर में शॉर्ट सर्किट से आग लग गई. घटना के समय 5 मंजिला हॉस्टल में कुल 61 छात्र थे. ज्यादातर छात्र सुबह गहरी नींद में थे. हो-हल्ला हुआ तो भगदड़ मच गई. इस बीच 7 छात्र झुलस गए. पहली मंजिल पर कुछ छात्रों ने बालकनी में चादरें बांधकर उतरने का प्रयास किया. इसमें एक छात्र गिरकर घायल हो गया. एक छात्र सीढ़ियों में फिसल गया, जिसके पैर में फ्रैक्चर हो गया.
हॉस्टल के अंदर रखा था ट्रांसफार्मर
कोटा नगर निगम के अग्निशमन अधिकारी राकेश व्यास ने कहा कि छात्रावास भवन अग्नि सुरक्षा उपायों से सुसज्जित नहीं था और उसके पास फायर एनओसी भी नहीं थी. ये चिंताजनक है कि ट्रांसफार्मर छात्रावास मंजिल के अंदर रखा गया था.
आग से झुलसे छात्र
कोटा पुलिस के मुताबिक, घायल छात्रों का इलाज महाराव भीम सिंह (MBS) हॉस्पिटल में चल रहा है. आग से बचने के लिए 14 छात्र इमारत की पहली मंजिल से कूद गए थे. इसकी वजह से एक छात्र के पैर में फ्रैक्चर हो गया, जिसका इलाज एक प्राइवेट हॉस्पिटल में किया जा रहा है.
छात्रों ने सुनाई आपबीती
इमारत में रहने वाले बिहार के छिंदवाड़ा के NEET अभ्यर्थी भविष्य (Bhavishya) भी इस घटना में घायल हो गए. उन्होंने बताया कि सुबह करीब 6.15 बजे तेज आवाज से उनकी नींद खुल गई और जब वह अपने कमरे से बाहर आए तो उन्होंने हर तरफ घना धुआं-धुआं देखा. उन्होंने कहा कि छात्रों ने पहली मंजिल से कूदने का फैसला किया क्योंकि सीढ़ियों के रास्ते में धुआं भरा हुआ था और इमारत से बाहर निकलने का कोई दूसरा रास्ता नहीं था
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