मशहूर पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला (Sidhu Moose Wala) की थार गाड़ी की हालत बता रही है कि उनपर हमला कितना घातक था. काले रंग की इस गाड़ी पर मौजूद गोलियों के निशान बता रहे हैं कि फायरिंग इतनी तेज हुई कि मूसेवाला को अपनी सीट से हिलने तक का मौका नहीं मिला. दरअसल महज कुछ सेकेंड में 30 राउंड फायरिंग के लिए किसी को भी एक ऑटोमैटिक असॉल्ट राइफल चाहिए. मूसेवाला को मारने के लिए जिस बंदूक का इस्तेमाल किया गया है, वो एएन-94 (AN-94) है. यह ऑटोमैटिक असॉल्ट राइफल एके-47 से भी ज्यादा पावरफुल मानी जाती है. तो आइए जानते है कितना घातक है AN-94?
एएन-94 में गोलियों की गति 900 मीटर प्रति सेकेंड है.
फुल ऑटोमैटिक मोड में हर मिनट 600 राउंड गोलियां निकलती हैं.
NA-94 असॉल्ट राइफल से बर्स्ट मोड में 1800 गोलियां दागी जा सकती है
बर्स्ट फायर करते वक्त इससे दो गोलियां एक साथ निकलती हैं
दो गोलियों के निकलने में समय का अंतर माइक्रोसेकेंड्स में होता है
NA-94 से दुश्मन को माइक्रोसेकेंड्स में एक साथ दो गोलियां लगती हैं.
इस राइफल में 30 से 45 राउंड की बॉक्स मैगजीन लगती है
इसमें 5.45x39 mm की गोलियां लगती हैं.
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AN-94 असॉल्ट राइफल रूस में बनी है
एएन-94 असॉल्ट राइफल का पूरा नाम एवतोमैत निकोनोव है
इसकी डिजाइनिंग 1980 से शुरु की गई थी जो 1994 में पूरी हुई थे.
इसे चीफ डिजाइनर गेनाडी निकोनोव ने बनाया है.
रूस में 1997 से इस असॉल्ट राइफल का इस्तेमाल हो रहा है
AN-94 राइफल को रूस ने AK-47 राइफल से रिप्लेस किया था
एएन-94 असॉल्ट राइफल का वजन 3.85 किलोग्राम है.
बट के साथ इसकी लंबाई 37.1 इंच और बगैर स्टॉक के 28.7 इंच होती है