सुप्रीम कोर्ट ने कोरोना के कारण जान गंवानेवालों के परिवारों को मुआवजा देने के मामले में यूपी सरकार को फटकार लगाई है. बुधवार को कोर्ट ने कहा कि आप दूसरे राज्यों की तरह पीड़ितों के लिए विज्ञापन क्यों नहीं देते कि यह एक शिकायत निवारण समिति है और आप संपर्क कर सकते हैं.
जजों की पीठ ने यूपी सरकार की ओर से विज्ञापनों पर असंतोष व्यक्त करते हुए कहा कि शिकायत निवारण समिति उनके डिटेल, पोर्टल विवरण आदि के साथ हमें किसी अखबार में कोई विज्ञापन नहीं मिलता. पीड़ितों को एक वेब पोर्टल के बारे में बताया जाना चाहिए, जिस पर वे मुआवजा पाने के लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकें. हर जिले में आपको स्थानीय अखबारों में विज्ञापन देना चाहिए.
दरअसल, यूपी सरकार की ओर पेश हुए वकील ने बेंच को बताया कि सरकार को कुल 25,933 आवदेन मिले और इनमें से 20,060 को भुगतान किया जा चुका है. इसके बाद बेंच ने स्थानीय अखबारों में दिए विज्ञापन को लेकर सवाल पूछा तो प्रदेश सरकार ने कहा कि फोन नंबर के साथ विज्ञापन दिए गए हैं. जिस पर नाराजगी जाहिर करते हुए कोर्ट ने कहा कि कौन उठाता है टोल फ्री नंबरों को, आप अभी कॉल करके देखो. कोर्ट ने कहा कि वो इस बाबत एक आदेश भी पास करेगा.
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