Army Major Dismissal: पंजाब के फिरोजपुर में सेना के एक मेजर को घरेलू सहायिका की 11 साल की नाबालिग बेटी के साथ यौन शोषण (over sexual assault of minor girl) के मामले में बर्खास्त कर दिया गया है और पांच साल की कठोर कारावास की सजा सुनाई गई है.
सेना के मेजर की अपमानजनक बर्खास्तगी की गई है और सजा के बाद सेना के मेजर को किसी भी सैन्य लाभ का अधिकार भी नहीं मिलेगा. मेजर पर सेना अधिनियम की धारा 69 (सिविल अपराध) के साथ-साथ यौन अपराधों से बच्चों की सुरक्षा (POCSO) अधिनियम 2012 के प्रासंगिक प्रावधानों के तहत दो अपराधों का आरोप लगाया गया था.
जानकारी के मुताबिक, जब सेना के मेजर अपनी पत्नी के साथ दिल्ली के अधिकारी आवास में रह रहे थे. तब उन्होंने नाबालिग का शोषण किया था और जनवरी 2022 में घरेलू नौकर द्वारा मेजर के खिलाफ स्टेशन मुख्यालय दिल्ली क्षेत्र, दिल्ली छावनी में सेना अधिकारियों के पास एक आधिकारिक शिकायत दर्ज की गई थी.
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इस मामले में कोर्ट ऑफ इंक्वायरी (COI) का आयोजन 7-11 फरवरी, 2022 तक नई दिल्ली में किया गया था. वहीं, मुकदमे में मेजर का प्रतिनिधित्व करने वाले वकील आनंद कुमार के अनुसार, मामले में विसंगतियां थीं जिन्हें जीसीएम ने नजरअंदाज कर दिया है.
उन्होंने कहा- 'घटना 12 जनवरी 2022 की है, लेकिन मां ने 24 जनवरी को मुख्यालय दिल्ली एरिया में शिकायत दर्ज कराई थी. देरी के लिए कोई स्पष्टीकरण नहीं दिया गया. शिकायत प्रति के साथ छेड़छाड़ की गई थी और उस पर किसी प्राधिकारी के हस्ताक्षर या कोई मोहर नहीं थी. शिकायतकर्ता के भाई, जिसने शिकायत लिखी थी, उसससे पूछताछ नहीं की गई और ना ही उसके रिश्तेदारों से पूछताछ की गई, जिन्हें उसने घटना के बारे में बताया था.'