रूस से डिस्काउंट पर तेल खरीदने का फायदा सिर्फ कंपनी को ही मिलेगा या फिर आम लोगों को भी राहत मिलेगी. यानी कि भारत में डीजल-पेट्रोल के दाम स्थिर रहेंगे या बढ़ेंगे? यह सवाल इसलिए पूछे जा रहे हैं क्योंकि देश की सबसे बड़ी तेल कंपनी इंडियन ऑयल (IOCL) ने कच्चे तेल की बड़ी खेप की खरीद की है. रॉयटर्स ने सूत्रों के हवाले से खबर दी है कि इंडियन ऑयल ने मई महीने के लिए रूस से डिस्काउंट पर 30 लाख बैरल कच्चे तेल की खरीद की है. जबकि 20 लाख बैरल वेस्ट अफ्रीकन ऑयल खरीदा है. कंपनी ने रूस के इस कच्चे तेल को ‘Vitol' नाम के ट्रेडर से बड़े ‘डिस्काउंट’ पर खरीदा है.
जानकारी के मुताबिक IOCL रूस-यूक्रेन युद्ध (Russia-Ukraine War) शुरू होने के बाद ये दूसरी बार है जब इंडियन ऑयल ने रुस से कच्चे तेल की खरीदी की है. कंपनी ने इस महीने की शुरुआत में भी Vitol से इतनी ही मात्रा में रूसी कच्चा तेल खरीदा था. इसकी डिलीवरी मई महीने में होनी है.
दरअसल, रूस ने 24 फरवरी को यूक्रेन पर हमला कर दिया था. उसके बाद से रूस को कई आर्थिक प्रतिबंधों का सामना करना पड़ रहा है. इस वजह से रूस को वैश्विक स्तर पर कारोबार करने में दिक्कत हो रही है. क्योंकि वह डॉलर में ठीक से ट्रेड नहीं कर पा रहा है.
वहीं रूस के बैंकों और फाइनेंशियल सिस्टम पर भी इन प्रतिबंधों का असर हुआ है. इसलिए रूस ने कई देशों के साथ उनकी स्थानीय मुद्रा में व्यापार करना शुरू किया है, साथ ही वह कच्चे तेल को ‘डिस्काउंट’ पर उपलब्ध करा रहा है.
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