77वें कान्स फिल्म फेस्टिवल में चिदानंद एस नाइक की फिल्म 'सनफ्लावर वेयर द फर्स्ट वन्स टू नो' ने गुरुवार को ला सिनेफ का फर्स्ट अवॉर्ड जीत लिया है. कान्स में भारत की एक सबसे बड़ी जीत है. मैसूर के डॉक्टर से फिल्ममेकर बने एक्टर ने यह फिल्म पुणे के भारतीय फिल्म एवं टेलीविजन संस्थान के टेलीविजन विंग में अपने एक साल के कौर्स के दौरान बनाई थी.
ये फिल्म कन्नड़ लोक कथा पर आधारित है. बात फिल्म की कहानी की करें तो ये एक एक बूढ़ी महिला के बारे में है, जो मुर्गा चुरा लेती है. वहीं ला सिनेफ प्रतियोगिता का तीसरा अवॉर्ड मेरठ की मानसी माहेश्वरी की एनीमेशन फिल्म 'बन्नीहुड' को मिला है.
इसमें दूसरा अवॉर्ड कोलंबिया विश्वविद्यालय के आसिया सेगालोविच की निर्देशित फिल्म 'आउट ऑफ द विडो थ्रू द वॉल' और 'ग्रीस के थेसालोनिकी' को मिला है. ये फिल्में 3 जून को सिनेमा डू पेंथियन और 4 जून को एमके2 क्वाई डे सीन में दिखाई जाएंगी.
बता दें कि, कान्स फिल्म फेस्टिवल में फर्स्ट अवॉर्ड को 15,000 यूरो, दूसरे विजेता को 11,250 यूरो और तीसरे विजेता को 7,500 यूरो दिया जाता है.
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