Pradeep Sarkar dies: निर्देशक-लेखक प्रदीप सरकार का जन्म 30 अप्रैल, 1955 को कोलकाता में हुआ था. उन्होंने विनोद चोपड़ा प्रोडक्शंस के साथ अपने करियर की शुरुआत की. प्रदीप ने 1979 में दिल्ली कॉलेज ऑफ आर्ट से गोल्ड मेडल के साथ ग्रेजुएशन किया. भारतीय सिनेमा में एक निर्देशक और एड फिल्म मेकर के तौर पर अपना करियर शुरू करने से पहले, उन्होंने क्रिएटिव आर्ट डायरेक्टर के रूप में मुख्यधारा के विज्ञापन में 17 साल बिताए.
उनके प्रोडक्शन हाउस ने ज्यादातर सफल विज्ञापनों की शूटिंग की, इनमें टाटा येलो पेजेज, ICICI प्रूडेंशियल और ओनिडा केवाई थंडर शामिल हैं. ब्लैक एंड व्हाइट में शूट किए गए आजतक टीवी विज्ञापनों ने उन्हें रैपा और एब्बी में साल के बेस्ट डायरेक्टर का अवॉर्ड जीता.
विज्ञापनों के अलावा, सरकार देश के बेहतरीन म्यूजिक वीडियो डायरेक्टर्स में से एक थे. शुभा मुद्गल की 'अब के सावन', यूफोरिया की 'धूम पिचक धूम' और 'माएरी', सुल्तान खान की 'पिया बसंती' और भूपेन हजारिका की 'गंगा' उनके कुछ बेहतरीन बेंच मार्क हैं जो उनके वीजुअल अपील और स्टोरी को बताने के बेहतरीन अंदाज को दिखाते हैं.
एक डायरेक्टर के रूप में उनकी पहली पहली फिल्म 'परिणीता' (2005) थी, जिसके लिए उन्होंने फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ कला निर्देशन, मोस्ट प्रॉमिसिंग डायरेक्टर के लिए जी सिने अवार्ड, राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार और एक निर्देशक की सर्वश्रेष्ठ पहली फिल्म के लिए इंदिरा गांधी पुरस्कार जीता.
उनकी अगली तीन फीचर फिल्में 'लागा चुनरी में दाग', 'लफंगे परिंदे' और 'मर्दानी' थीं, जो सभी यशराज फिल्म्स द्वारा निर्मित थीं. काजोल स्टारर उनकी आखिरी फिल्म 'ईला' अक्टूबर 2018 में रिलीज हुई थी.
ये भी देखें : Pradeep Sarkar Death: नहीं रहे डायरेक्टर प्रदीप सरकार, हंसल मेहता और Manoj Bajpayee ने दी श्रद्धांजलि