Gyanvapi: वाराणसी के ज्ञानवापी को लेकर ऐतिहासिक फैसला देने वाले सिविल जज रवि दिवाकर (Ravi Diwakar) को जान से मारने की धमकी मिल रही है. इस बारे में जज ने पुलिस को भी जानकारी दी है, उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय नंबरों से फोन आ रहे हैं और उन्हें जान से मारने की धमकियां मिल रही हैं. उन्होंने इन धमकियों की जांच करने को कहा है.
घटा दी गई थी जज की सुरक्षा
TOI की रिपोर्ट के मुताबिक धमकियां मिलने के बाद जज रवि दिवाकर ने SSP सुशील चंद्रभान घुले को एक पत्र लिखकर कहा कि उन्हें अंतरराष्ट्रीय नंबरों से धमकी भरे कॉल आ रहे हैं. इससे पहले ज्ञानवापी के फैसले के बाद इलाहाबाद हाई कोर्ट ने जज और उनके परिवार के लिए वाई-श्रेणी की सुरक्षा को मंजूरी दे दी थी, हालांकि बाद में इसे घटाकर एक्स-श्रेणी कर दिया गया था. जज रवि दिवाकर के एक करीबी ने बताया कि इस समय उनकी सुरक्षा में इस समय दो सुरक्षाकर्मी हैं. इन सुरक्षाकर्मियों के पास आधुनिक हथियारों से मुकाबला करने के लिए हथियारों की कमी है.
जज परिवार को लेकर भी चिंतित
जज रवि दिवाकर ने साल 2022 में कहा था कि इस सिविल केस को असाधारण केस बनाकर डर का माहौल बनाया गया. डर इतना है कि मेरा परिवार हमेशा मेरी सुरक्षा को लेकर चिंतित रहता है और मैं उनकी सुरक्षा को लेकर चिंतित हूं. इसके साथ ही पिछले साल जज दिवाकर के लखनऊ स्थित घर के पास से पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) के एक सदस्य को गिरफ्तार किया गया था. हाल ही में बरेली में स्थानांतरित होने के बाद जज दिवाकर ने साल 2018 के बरेली दंगों के मामले में स्वत: संज्ञान लेते हुए वरिष्ठ मौलवी तौकीर रजा को कथित मास्टरमाइंड के रूप में मुकदमा चलाने के लिए बुलाया है.
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