Chandi Path : हिन्दू धर्म में देवी दुर्गा (Devi Durga) की महिषासुर (Mahishasura) पर जीत की कहानी बहुत प्रचलित है. देवी दुर्गा की शक्ति की व्याख्या को समर्पित ग्रंथ है दुर्गा सप्तशती (Durga Shaptsati). इस पुस्तक में देवी की उपासना के मंत्र और श्लोक हैं. नियमानुसार इस उपासना मंत्र का पाठ चंडी पाठ (Chandi Path) कहलाता है. इस मंत्र में महिषासुर पर मां दुर्गा की जीत की कहानी है.
यह भी देखें: Shardiya Navratri 2022: सिर्फ 48 मिनट का है घटस्थापना का शुभ मुहूर्त, जानिए नवरात्रि से जुड़ी सभी जानकारी
चंडी पाठ में कुल 700 श्लोक हैं. दुर्गा सप्तशती में अध्याय एक से तेरह तक 3 चरित्र विभाग हैं. ये श्लोक खुद में ऐसे वैज्ञानिक सूत्र हैं जो अपने शब्दों के संयोजन की ध्वनि से शरीर में रसायनिक प्रकिया के ज़रिये इंसान की आंतरिक शक्ति को बढ़ाते हैं. खासकर नवरात्रि काल में इसका विशेष महत्व होता है. ऐसी मान्यता है कि चंडी पाठ करने से डर, भय और पाप नष्ट हो जाते हैं. कवच, अर्गला, कीलक, प्रधाणिक, वैकृतिक रहस्य और मूर्त रहस्य दुर्गा सप्तशती के 6 मुख्य अंग हैं. इनके बिना चंडी पाठ पूरा नहीं माना जाता.
यह भी देखें: Mahalaya 2022: कब है महालया, आकाशवाणी का ये 'शो' क्यों है महालया के दिन बेहद ख़ास?
देवी दुर्गा की उपासना का ज़िक्र रामायण में भी मिलता है. माना जाता है कि श्रीराम ने रावण से युद्ध करने से पहले जीत के लिए शारदीय नवरात्र की प्रतिपदा को समंदर किनारे चंडी पाठ किया था, जिसे देवी स्तुति कहा गया है.