Sawan Adhik Maas Purnima 2023: सावन (Sawan) का पावन महीना चल रहा है और इस महीने में हर तिथि का महत्व बढ़ जाता है. सावन मास के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि पर अधिक पूर्णिमा व्रत रखा जाता है. इस व्रत के दिन पवित्र नदी में स्नान करने और दान करने का महत्व होता है.
हिंदी पंचांग के अनुसार, सावन अधिक पूर्णिमा व्रत तिथि 1 अगस्त को सुबह 03:51 मिनट से शुरू हो रही है. जिसके समाप्त होने का समय 2 अगस्त रात 12 बजे है. उदया तिथि के अनुसार व्रत 1 अगस्त को रखा जा रहा है.
- पूर्णिमा व्रत की पूजा के लिए एक साफ़ और पवित्र स्थान चुनें. व्रत के दिन घर के मंदिर या पूजा स्थान को सजाएं.
व्रत के लिए भगवान की पूजा करते समय नीचे दी गई सामग्री का इस्तेमाल करें-
-दीपक और घी या तेल
-अगरबत्ती या धूप
-सुपारी, नारियल, पुष्प (फूल)
-फल (मिठा और खट्टा दोनों)
-गुड़, चावल, हल्दी, कुमकुम, अख्शता
-पान के पत्ते और मिश्री
- पूजा के आरंभ में घर में दीपक जलाएं और धूप से आरती करें. व्रत कथा सुनना और भगवान की आराधना करना भी शुरू करें.
- व्रत के दौरान भगवान की पूजा के लिए फल, नैवेद्य, गुड़ और पूजा सामग्री अर्पित करें.
- इसके बाद भजन गाएं और आरती करें.
- पूजा के बाद प्रसाद को भगवान के चरणों में अर्पित करें और उसे सभी परिवार के सदस्यों के साथ बांटें.
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