17 June History: दोस्ती की खातिर फ्रांस ने अमेरिका को तोहफे में दी थी Statue of Liberty!

Updated : Jun 23, 2022 10:34
|
Editorji News Desk

आज से 136 साल पहले अमेरिका के लिबर्टी द्वीप पर फ्रांस से आया पानी का एक जहाज रुका. जिसमें 214 बक्से थे. जब इन बक्सों को खोला गया तो उसमें एक मूर्ति के 350 टुकड़े मिले. बाद में जब इन टुकड़ों को जोड़ा गया तो एक ऐसी मूर्ति तैयार हुई जिसने तब पूरी दुनिया को अचंभित कर दिया था. इस मूर्ति का नाम था स्टेच्यू ऑफ लिबर्टी (Statue of Liberty).

दुनिया के सात अजूबों (Seven Wonders of the World) में शामिल इस मूर्ति को आज ही के दिन 17 जून 1886 में फ्रांस ने अमेरिका को बतौर तोहफे में दिया था, ताकि दोनों देशों के बीच की दोस्ती और मजबूत हो सके.

देश-दुनिया के ऐतिहासिक कार्यक्रम झरोखा में आज हम इसी दिलचस्प मूर्ति के इतिहास में झांकने की कोशिश करेंगे...

अमेरिका की आजादी के 100 वर्षों का जश्न

अमेरिका को ब्रिटेन से आजादी मिले 100 साल हो गए थे... जिसे सिलेब्रेट की योजना न सिर्फ अमेरिका में बन रही थी बल्कि वहां से 7 हजार 6 सौ किलोमीटर दूर फ्रांस भी कुछ अलग करने के मूड में था. नेपोलियन के देश फ्रांस ने फैसला लिया कि वो अपने दोस्त अमेरिका को स्वतंत्रता के प्रतीक के तौर पर एक ऐसी मूर्ति गिफ्ट करेगा जिसकी दुनिया में कोई मिसाल न हो. इसके लिए बकायदा दोनों देशों की सरकारों के बीच समझौता भी हुआ. इसके बाद शुरू हुआ स्टेच्यू ऑफ लिबर्टी को बनाने का कम...

11 साल में बनी थी स्टेच्यू ऑफ लिबर्टी

आधिकारिक तौर पर इस मूर्ति का निर्माण फ्रांस में 1875 में शुरू हुआ जो 1886 में जाकर पूरा हुआ. दिलचस्प ये है कि इसकी क्वॉलिटी को चेक करने के लिए इसके सारे टुकड़ों को एक साथ जोड़कर फ्रांस में भी मूर्ति को खड़ा किया गया. बाद में टुकड़ों को फिर से अलग किया गया और फिर बक्से में बंद कर उसे अमेरिका रवाना किया गया.

ये भी देखें- देश का सबसे बड़ा रेल हादसा, नदी में समा गए थे ट्रेन के 7 डिब्बे

इस मूर्ति को फ्रांस के इंजीनियर गुस्टावे एफिल ( Engineer Gustave Eiffel ) ने तैयार किया था. गुस्टावे वही इंजीनियर हैं जिन्होंने एफिल टावर बनाया था. स्टैच्यू को बनाने के लिए जर्नलिस्ट जोसेफ पुलित्जर ( Journalist Joseph Pulitzer ) ने क्राउड-फंडिंग के जरिए 100,000 डॉलर से भी ज्यादा इकट्ठे किए थे.

स्टेच्यू ऑफ लिबर्टी की नींव अमेरिका में बनी

अहम ये भी है कि दुनिया में अमेरिका की पहचान माने जाने वाली इस मूर्ति की नींव का निर्माण अमेरिका ने किया, जबकि बाकी सारे हिस्सों को फ्रांस ने बनाया. मूर्ति सदियों तक शान से खड़ी रहे इसके लिए जरूरी था कि इसे बेहद मजबूत बनाया जाए. लिहाजा अंदर का पूरा ढांचा स्टील से तैयार हुआ फिर बाहरी ढांचे को बनाने में शुद्ध तांबे का इस्तेमाल किया गया. जिससे इसका वजन 250 टन से कुछ ज्यादा हो गया. 

ये भी देखें- K Asif ने 16 साल में बनाया 'Mughal-E-Azam' जैसा कोहिनूर, कलाकारों को बांटे थे ब्लैंक चेक

लिबर्टी एनलाइटिंग द वर्ल्ड

स्टैच्यू ऑफ लिबर्टी का एक रोचक तथ्य ये भी है कि इसका पूरा नाम लिबर्टी एनलाइटिंग द वर्ल्ड ( Liberty Enlightening the World ) है. प्रतिमा का नाम रोमन देवी लिबर्ट्स ( Roman Devi Libertas ) के नाम पर रखा गया है, जो रोमन पौराणिक कथाओं में स्वतंत्रता का प्रतीक है. यह प्रतिमा भले ही जलती हुई मशाल के लिए जानी जाती है, लेकिन अब जो मशाल इसमें रखी गई है वो सिर्फ एक कॉपी है. 1984 में, मौसम की वजह से होने वाले नुकसान के कारण मशाल को बदलना पड़ गया था. कॉपी टॉर्च में नए तरीके से मशाल को डिजाइन किया गया, जिसमें ताबे पर 24 किलो सोना चढ़ा है. 

300 बार आकाशीय बिजली टकराती है

चौंकाने वाली बात ये भी है कि इस मूर्ति की ऊंचाई के कारण साल में तकरीबन 300 बार आकाशीय बिजली भी इससे टकराती है. साल 2010 पहली बार बिजली की फोटो खींची गई थी. बहरहाल दो देशों की दोस्ती की ऐसी मिसाल दुनिया में दूसरी नहीं मिलती. 

ये भी देखें- पुरुषोत्तम दास टंडन ने कहा था- अंग्रेजों की गुलामी स्वीकार है, देश का बंटवारा नहीं!

चलते-चलते आज की तारीख में हुई दूसरी अहम घटनाएं को भी जान लेते हैं. 

1631,जिनकी याद में ताजमहल बना उन मुमताज बेगम ( Mumtaz Mahal Birth ) का जन्म हुआ
1756, नवाब सिराजुद्दौला ( Nawab Siraj Ud Daulah ) ने 50 हजार सैनिकों के साथ कलकत्ता पर आक्रमण किया.
1917, महात्मा गांधी ने साबरमती आश्रम में हृदय कुंज ( Hriday Kunj ) को अपना आवास बनाया
1973, भारत के जाने-माने टेनिस खिलाड़ी लिएंडर पेस का जन्म ( Leander Paes Birthday )

ये भी देखें- इजराइल बना ‘महाशक्ति’…8 अरब देशों को अकेले दे दी मात!

Joseph PulitzerFrancestatue of libertyamericaGustave Eiffel

Recommended For You

editorji | दुनिया

Britain Elections: 'बदलाव यहीं से शुरू होता है...' चुनाव में जीत के बाद Keir Starmer ने X पर किया खास पोस

editorji | दुनिया

Rishi Sunak ने Britain चुनाव में स्वीकार की हार, Keir Starmer को दी जीत की बधाई

editorji | दुनिया

Rishi Sunak ने ब्रिटेन के PM पद से इस्तीफे का किया ऐलान, क्या है बड़ी वजह?

editorji | दुनिया

Robot Commits Suicide: काम का बोझ नहीं झेल पाया रोबोट, कर लिया सुसाइड 

editorji | दुनिया

America ने करीब 5 लाख उल्लुओं को मारने का क्यों दिया आदेश, वजह क्या?