Pakistan Political Crisis: पाकिस्तान (Pakistan) के इतिहास में 9 अप्रैल यानी शानिवार का दिन काफी अहम माना जा रहा था. शनिवार को पाकिस्तान में इमरान खान (Imran Khan) सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पर सुबह 10.30 बजे वोटिंग होनी थी. इसका फैसला भी सुप्रीम कोर्ट (Pak Supreme Court) ने ही दिया था. पाकिस्तानी सुप्रीम कोर्ट ने डिप्टी स्पीकर के उस फैसले को खारिज कर दिया था जिसमें संसद को भंग कर दिया गया था. हालांकि पूरे दिन अविश्वास प्रस्ताव (No Confidence Motion) पर वोटिंग नहीं हुई. हालांकि, इस दौरान शनिवार सुबह से लेकर रात तक पाकिस्तानी संसद और सियासत में घटनाक्रम तेजी से बदले.
वोटिंग से पहले, विपक्षी दलों की ओर से कहा गया है कि वोटिंग के बाद सफलता मिलने पर नए प्रधानमंत्री के चुनाव की मांग की जाएगी. इससे पहले, रणनीति तय करने के लिए विपक्ष की बैठक बुलाई गई. अविश्वास प्रस्ताव से पहले विपक्ष ने कहा कि हमारे साथ 196 सांसद हैं.
उधर, जब संसद की कार्यवाही शुरू हुई तो पीएम इमरान खान संसद से नदारद रहे. संसद में कार्यवाही के दौरान विपक्ष के नेता शाहबाज शरीफ ने कहा कि इमरान ने मुल्क का ख्याल नहीं रखा. उन्होंने संसद में कहा कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले के मुताबिक कार्यवाही हो. इमरान ने पाकिस्तान का भविष्य बर्बाद किया.
इस बीच सदन में शोरशराबा बढ़ने लगा और पाकिस्तान संसद को भारतीय समय के मुताबिक एक बजे तक के लिए स्थगित कर दिया गया. इस के बाद मरियम नवाज शरीफ का बयान भी सामने आया, मरियम ने कहा कि एक व्यक्ति जो अपने होश में नहीं है, उसे कहर बरपाने की अनुमति नहीं दी जा सकती. उन्होंने कहा है कि अगर इमरान को भारत ज्यादा ही पसंद है, तो उन्हें वहीं चले जाना चाहिए.
इस बीच नेशनल असेंबली की कार्यवाही एक बार फिर से शुरू हुई. इस दौरान सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों ने एक दूसरे पर जमकर निशाना साधा..इमरान खान की सरकार में विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने कहा कि हम आज हैं, कल नहीं होंगे. इस दौरान उन्होंने कहा कि ऐसा कौन सा देश होगा, जहां चुनी हुई सरकार के साथ ऐसा होता होगा.
उधर, विपक्ष की ओर से बिलावल भुट्टो जरदारी ने कमाल संभाली और कहा कि इमरान खान बहुमत खो चुके हैं और कप्तान इमरान खान मैदान से भाग गए हैं. भुट्टो ने कहा कि कोर्ट के आदेश का पालन करें और मतदान कराएं.
हालांकि इस दौरान एक बार फिर संसद को स्थगित कर दिया गया. इस बीच खबर आई कि पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने शनिवार रात 9:30 बजे कैबिनेट की विशेष बैठक बुलाई है. कहा गया कि कैबिनेट की विशेष बैठक में अहम फैसले की उम्मीद है. इससे पहले हर हाल में अपनी कुर्सी बचाने की कोशिश कर रहे इमरान खान की पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ ने सुप्रीम कोर्ट में रिव्यू पिटिशन दायर किया.
पाकिस्तान की सियासत में तेजी से बदले हालात के बीच इमरान सरकार में शामिल फवाद चौधरी ने ट्वविटर पर अपनी प्रोफाइल बदल दी, उन्होने खुद को पूर्व मंत्री लिखा. इसके बाद शाह महमूद कुरैशी ने भी अपना ट्विटर बायो बदल दिया.
रात 9.30 बजे इमरान खान की ओर से बुलाइ गई कैबिनेट मीटिंग को लेकर बिलावल भुट्टो ने पीएम पर निशाना साधा, पीपीपी के नेता बिलावल भुट्टो जरदारी ने कहा है कि नेशनल असेंबली में बहस अवैध है. उन्होंने कहा कि रात 9 बजे कैबिनेट की बैठक बुलाना शनिवार को मतदान न करने की स्पष्ट मंशा को दर्शाता है.
इसके बाद इमरान खान ने वोटिंग से पहले विपक्ष के सामने तीन शर्तें रख दी. इमरान खान ने अपनी पहले शर्ते में कहा कि शहबाज शरीफ को पाकिस्तान का पीएम ना बनाया जाए. साथ ही उन्होंने कहा कि उनके खिलाफ NBA के तहत मुकदमा दर्ज ना किया जाए और उनकी गिरफ्तारी ना हो.
इस सियासी उठापटख के बीच नेशनल असेंबली के स्पीकर असद कैसर ने इमरान खान के साथ अपने साथ 30 साल पुराने रिश्ते का हवाला देते हुए वोटिंग करवाने से साफ इनकार कर दिया. उन्होंने कहा कि मैं अविश्वास प्रस्ताव पर वोटिंग करवाकर इमरान खान के साथ थोखा नहीं कर सकता. हालांकि इस दौरान संसद की कार्यवाही को करीब 10 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया गया.