History 28th June: आज ही के दिन भड़की थी पहले विश्व युद्ध की चिंगारी, जानें इतिहास

Updated : Jun 27, 2024 22:38
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Editorji News Desk

On This Day in History 28 June: 28 जून साल 1914 विश्व इतिहास में ये तारीख एक भीषण नरसंहार की पहली चिंगारी की याद दिलाती है. आज ही के दिन साल 1914 में ऑस्ट्रिया-हंगरी के युवराज की आर्चड्यूक फ़र्डिनेंड और उनकी पत्नी सोफी की हत्या की गई थी. इस हत्या से ऑस्ट्रिया का राजघराना बौखला गया और उसे हत्या में सर्बिया की साजिश लग रही थी. ऑस्ट्रिया-हंगरी के सम्राट फ्रांत्स योजेफ ने प्रिंस की हत्या के ठीक एक महीने बाद 28 जुलाई 1914 को सर्बिया के खिलाफ युद्ध की घोषणा की. धीरे-धीरे इस युद्ध का दायरा बढ़ने लगा और यूरोप के अधिकांश देश इसमें कूद पड़े. मुख्य रूप से यह युद्ध सेंट्रल पॉवर्स यानी जर्मनी, ऑस्ट्रिया-हंगरी और तुर्की के खिलाफ मित्र गुट यानी फ्रांस, ग्रेट ब्रिटेन, रूस, इटली, जापान और 1917 से अमेरिका के बीच लड़ा गया. यह युद्ध सेंट्रल पॉवर्स की हार के बाद ही खत्म हुआ. 11 नवंबर 1918 को युद्धविराम से पहले ही जर्मनी में जन-असंतोष इतना बढ़ गया था कि सम्राट विलहेल्म द्वितीय को सिंहासन छोड़ना पड़ा और नीदरलैंड में शरण लेनी पड़ी. करीब चार साल तक चले इस महायुद्ध में 1.7 करोड़ लोगों की मौतें हुईं. इसे आधुनिक इतिहास का पहला ‘वैश्विक महाभारत’ भी कहा जा सकता है. 

इतिहास के दूसरे अंश मे बात अनोखी सर्जरी के होगी. बात है अमेरिका के रहने वाले 34 साल के थॉमस (बदला हुआ नाम) की जो अपनी लिवर की समस्या से परेशान थे. उनके लिवर का अंदरूनी हिस्सा काम नहीं कर रहा था जब उन्होंने इसकी जांच कराइ तो पता चला कि उन्हें हेपेटाइटिस बी और एड्स दोनों है. ऐसे में डॉक्टरों ने उन्हें लिवर ट्रांसप्लांट करने की सलाह दी. लेकिन थॉमस को इतनी सारी बीमारियां थीं कि कोई भी डॉक्टर ट्रांसप्लांट करने को तैयार नहीं था. बाद में डॉक्टर थॉमस स्टार्जल और डॉक्टर जॉन फंग लिवर ट्रांसप्लांट करने को राजी हो गए. इन दोनों डॉक्टरों ने तय किया कि थॉमस को लंगूर का लिवर ट्रांसप्लांट किया जाएगा. उस समय तक ये माना जाता था कि लंगूर के लिवर पर HIV वायरस का असर नहीं होता. 28 जून को 1992 में डॉक्टरों की एक टीम ने आखिरकार जटिल ऑपरेशन को सफल अंजाम दिया. इस तरह थॉमस को 15 साल के एक लंगूर का लिवर ट्रांसप्लांट किया गया. लेकिन ऑपरेशन के महज 26 दिन बाद थॉमस की ब्रेन हैमरेज से मौत हो गई. 

इतिहास के तीसरे अंश में बात क्वीन विक्टोरिया की करेंगे. 28 जून साल 1838 में  क्वीन विक्टोरिया का राज्याभिषेक किया गया था. 20 जून 1837 को ब्रिटेन के किंग विलियम IV का निधन हो हुआ था किंग विलियम की कोई संतान नहीं थी, इस वजह से विक्टोरिया को ब्रिटेन की रानी बनाया गया. इस तरह महज 19 साल की उम्र में विक्टोरिया के हाथों में ब्रिटेन की कमान आ गई थी. बता दें विक्टोरिया 63 सालों तक  ब्रिटेन की महारानी रहीं. उनके कार्यकाल में ब्रिटेन ने हर क्षेत्र में तरक्की की और एक विश्व शक्ति के रूप में उभरा. कहा जाता है कि रानी ने अपने कार्यकाल में एक चौथाई दुनिया पर राज किया था. 

देश- दुनिया में 28 जून का इतिहास 

2012: तीन दशक से पाकिस्तान की जेल में बंद सुरजीत सिंह को पाकिस्तान ने भारत को सौंपा. 

2009: भारत के अलग-अलग शहरों में समलैंगिकता को लीगल करने के लिए गे प्राइड परेड का आयोजन किया गया. 

1926: गोटलिब डैमलर और कार्ल बेन्ज ने दो कंपनियों का विलय कर मर्सिडीज-बेंज की शुरुआत की. 

1921: भारत के पूर्व प्रधानमंत्री पीवी नरसिम्हा राव का आंध्रप्रदेश में जन्म हुआ. 

1846: एडोल्फ सैक्स ने वाद्य यंत्र सेक्सोफोन का पेटेंट कराया.

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