भारत के दिग्गज टेनिस खिलाड़ी रोहन बोपन्ना ने शनिवार को मैथ्यू इब्डेन के साथ मिलकर सिमोन बोलेली और आंद्रिया वावासोरी की जोड़ी पर शानदार जीत से ऑस्ट्रेलियाई ओपन मेंस डबल्स का खिताब जीत लिया. इससे वह ग्रैंडस्लैम खिताब जीतने की उपलब्धि हासिल करने वाले तीसरे भारतीय खिलाड़ी बन गए.
दूसरी वरीय बोपन्ना-इबडेन की जोड़ी ने एक घंटे 39 मिनट तक चले फाइनल में इटली की गैर वरीयता प्राप्त जोड़ी पर 7-6(0) 7-5 से जीत दर्ज की. बोपन्ना 43 साल की उम्र में मेंस टेनिस में ग्रैंडस्लैम चैम्पियन बनने वाले सबसे उम्रदराज खिलाड़ी भी बन गए. उन्होंने जीन जूलियन रोजर का रिकॉर्ड तोड़ा, जिन्होंने 2022 में मार्सेलो अरेवोला के साथ मिलकर फ्रेंच ओपन मेंस डबल्स ट्रॉफी जीती थी. बोपन्ना अपना तीसरा मेंस डबल्स फाइनल खेल रहे थे. वह अमेरिकी ओपन में दो बार (2013, 2023) में उप विजेता रहे थे.
रोहन बोपन्ना ने रचा इतिहास, 43 साल की उम्र में ऑस्ट्रेलियन ओपन जीतकर बनाया वर्ल्ड रिकॉर्ड
अपनी इस उपलब्धि पर बोपन्ना ने कहा, 'दो साल पहले मैंने एक वीडियो संदेश में कहा था कि मैं संन्यास लेने जा रहा हूं, क्योंकि मैं मैच नहीं जीत रहा था. मैंने पांच महीने तक एक भी मैच नहीं जीता था. मैंने सोचा कि मेरे सफर का अंत हो गया है लेकिन मेरी अंदर की भूख और दृढ़ संकल्प ने मुझे जारी रखा.' उन्होंने कहा, 'इससे वास्तव में काफी चीजें बदल गईं और मुझे एक शानदार जोड़ीदार मिला, जिससे मैं यह उपलब्धि हासिल कर पाया.' बोपन्ना सोमवार को जारी होने वाली एटीपी रैंकिंग में नंबर एक खिलाड़ी बन जाएंगे. 43 की उम्र में वह टॉप रैंकिंग पर पहुंचने वाले सबसे उम्रदराज खिलाड़ी भी बन जाएंगे.
बोपन्ना ने अपनी सफलता के लिए अपने ऑस्ट्रेलियाई जोड़ीदार इब्डेन और अमेरिकी कोच स्कॉट डेविडोफ के योगदान का धन्यवाद करते हुए कहा, 'अगर मेरे साथ यह शानदार ऑस्ट्रेलियाई जोड़ीदार नहीं होता तो यह संभव नहीं हो पाता. मैटी तुम्हें धन्यवाद. पिछला साल शानदार रहा और मेरे लिए मेरा पहला ग्रैंडस्लैम मेंस डबल्स खिताब जीतना विशेष है.' उन्होंने कहा, 'स्कॉट एक दशक से मेरे शानदार कोच रहे हैं. यह मुश्किल यात्रा थी और इस जीत के आप भी उतने ही हकदार हैं जितना मैं हूं.'
बोपन्ना ने हल्के फुल्के अंदाज में कहा, 'मेरे सास ससुर भी यहां पर हैं. पिछली बार जब वे मेरा मैच देखने आए थे तो मैंने अपना पहला मिक्सड डबल्स खिताब जीता था. पता नहीं वे अकसर मेरे मैच देखने क्यों नहीं आते हैं.' इब्डेन ने भी भारतीय खिलाड़ी की तारीफ करते हुए कहा, 'इस खिलाड़ी के लिए उम्र वास्तव में कोई संख्या ही नहीं है. वह चैम्पियन है, वह योद्धा है. मैं हमेशा तुम्हारा और तुम्हारी शानदार टीम का शुक्रगुजार रहूंगा.' रॉड लीवर अरीना में यह इतना कड़ा मुकाबला था कि इसमें बस एक बार सर्विस ब्रेक हुई जब वावासोरी ने दूसरे सेट के 11वें गेम में अपनी सर्विस गिराई. इसमें ज्यादा ब्रेक प्वाइंट भी नहीं थे.