यह पहलवान साक्षी मलिक है जो 2016 में रियो में ओलंपिक कांस्य पदक जीतने के बाद तिरंगे को लपेटे हुए दौड़ते हुए दिख रही हैं और लगभग 8 साल के बाद, भारत के लोकतंत्र के नए मंदिर के उद्घाटन के दौरान पुलिस द्वारा घसीट कर ले जाई जा रही इस महिला पहलवान की ये तस्वीर इंटरनेट पर चर्चा में है.
ऐसी और भी कई तस्वीरें हैं जो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रही हैं. कई सोशल मीडिया यूजर्स इंटरनेट पर ऐसी तुलना कर रहे हैं
नए संसद के उद्घाटन सत्र में ज्यादातर सत्तारूढ़ भाजपा के सांसदों ने भाग लिया, जबकि विरोध करने वाले और तिरंगे पकड़े हुए दो पहलवानों को पकड़कर जमीन पर गिरा दिया गया.
दोनों घटनाएं 28 मई को राष्ट्रीय राजधानी के बीचोबीच एक-दूसरे से महज 2 किलोमीटर की दूरी पर हुईं.
जैसे ही दिल्ली पुलिस ने विरोध करने वाले पहलवानों को नई संसद की ओर मार्च करने से रोक दिया और ये घटना घटित हुई.
हमारे ओलंपियन, हमारे पदक विजेता, उनकी उपलब्धियां, ऐसा लगा कि 28 मई को कुछ ही सेकंड में भुला दिया गया.
इस हाहाकार के बीच, ओलंपिक चैंपियन, नीरज चोपड़ा, देश के कुछ सबसे प्रतिष्ठित खिलाड़ियों के साथ किए गए व्यवहार को देख अपनी निराशा को छिपा नहीं सके.