निर्वाचन अधिकारी ने मंगलवार को जारी अधिसूचना में घोषणा की कि भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के बहुप्रतीक्षित चुनाव छह जुलाई को होंगे.
यह घोषणा भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) द्वारा उच्च न्यायालय के सेवानिवृत्त न्यायाधीश महेश मित्तल कुमार को चुनाव प्रक्रिया को गति देने के लिए निर्वाचन अधिकारी नियुक्त करने के एक दिन बाद हुई है.
यह भी सूचित किया गया कि चुनाव के परिणाम भी उसी दिन घोषित किए जाएंगे.
निर्वाचक मंडल के गठन के लिए प्रत्येक राज्य और केंद्र शासित प्रदेश से दो-दो नामांकन प्राप्त करने की अंतिम तिथि 19 जून निर्धारित की गई है और 22 जून तक समीक्षा पूरी कर ली जाएगी.
प्रत्येक राज्य इकाई दो प्रतिनिधि भेज सकती है और प्रत्येक प्रतिनिधि का एक वोट होगा. इस तरह डब्ल्यूएफआई चुनावों के लिए निर्वाचक मंडल में 50 वोट होंगे. लेकिन पता चला है कि डब्ल्यूएफआई द्वारा पूर्व में भंग की गई कुछ राज्य इकाइयों ने भी चुनाव में भाग लेने का दावा पेश किया है.
निर्वाचन अधिकारी विभिन्न गुटों के प्रतिनिधियों के दावों पर गौर करने के बाद तय करेंगे कि कौन मतदान कर सकता है और कौन नहीं.
चुनाव के लिए नामांकन 23 जून से जमा कराए जा सकेंगे और नामांकन जमा कराने की अंतिम तारीख 25 जून है. नामांकन की समीक्षा 28 जून को होगी.
खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने पहलवानों को आश्वासन दिया था कि सरकार बृजभूषण के परिवार के किसी सदस्य या सहयोगी को चुनाव लड़ने की स्वीकृति नहीं देगी.
यह देखना होगा कि तब क्या होगा जब बृजभूषण से जुड़ा कोई पात्र व्यक्ति चुनाव के लिए नामांकन दायर करेगा.
बृजभूषण का बेटा करन डब्ल्यूएफआई के पिछले ढांचे में उपाध्यक्ष था और वह उत्तर प्रदेश कुश्ती संघ से भी जुड़ा है. उसका दामाद विशाल सिंह बिहार कुश्ती संघ का अध्यक्ष है.
दोनों राज्य संस्था के प्रतिनिधि के रूप में चुनाव लड़ने के पात्र हैं.
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