IND vs SA Final:"विराट कोहली एक क्वालिटी प्लेयर हैं. कोई भी खिलाड़ी इस दौरे से गुजर सकता है. फॉर्म कोई चिंता की बात नहीं है. वह अच्छे दिख रहे हैं और उनकी बल्लेबाजी में इंटेंट दिख रहा है.शायद वो अपना बेस्ट फाइनल के लिए बचा रहे हैं". यह बयान सेमीफाइनल को जीतने के बाद रोहित शर्मा ने कोहली की खराब फॉर्म को लेकर दिया था.
कप्तान रोहित ने जो भरोसा विराट पर दिखाया था, उस पर किंग कोहली फाइनल में एकदम खरे उतरे. क्यों विराट को बड़े मैचों का खिलाड़ी कहा जाता है, यह बात उन्होंने साउथ अफ्रीका के खिलाफ एकबार फिर साबित करके दिखा दी.
महज पांचवें ही ओवर में रोहित-पंत और सूर्यकुमार के पवेलियन लौटने के बाद कोहली ने बखूबी अंदाज में भारतीय पारी को संभाला. चौथे विकेट के लिए विराट ने अक्षर के साथ मिलकर 72 रन की साझेदारी जमाई, जो टीम इंडिया के लिए किसी वरदान से कम साबित नहीं हुई.
विराट के बल्ले से 59 गेंदों पर 76 रन की अहम पारी निकली. सूझबूझ से भरी इस पारी के दौरान विराट ने 6 चौके और दो छक्के जमाए. कोहली ने टी-20 विश्व कप फाइनल में छठी सबसे बड़ी पारी खेली. कोहली की पारी के बूते भारतीय टीम 7 विकेट खोकर स्कोर बोर्ड पर 176 रन लगाने में सफल रही, जो अब टी-20 वर्ल्ड कप के फाइनल का सबसे बड़ा स्कोर भी है.