त्रिपुरा ( Tripura) के एक होटल में नजरबंद किए गए चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर (Prashant Kisho) की कंपनी IPAC की सर्वे टीम के सदस्यों को अदालत से राहत मिली. गुरुवार को कोर्ट ने सभी 23 सदस्यों की बिना शर्त रिहाई (Unconditional Bail) का आदेश दिया, साथ ही त्रिपुरा पुलिस की कंपलेन को रिजेक्ट कर दिया. दरअसल, प्रशांत किशोर की टीम के 23 लोग TMC के लिए सर्वे करने त्रिपुरा आए थे, लेकिन त्रिपुरा पुलिस ने उनपर डिजास्टर मैनेजमेंट एक्ट के तहत केस दर्ज कर उन्हें अगरतला के होटल में नजरबंद कर दिया था. नजरबंदी के पीछे पुलिस ने कोरोना प्रोटोकॉल का हवाला दिया था, जिसे IPAC और TMC ने मनगढ़ंत और अलोकतांत्रिक बताया. IPAC की टीम ने कहा कि उनके पास कोरोना प्रोटोकॉल से जुड़े सभी जरूरी दस्तावेज थे.
वहीं गुरुवार सुबह टीएमसी सांसद डेरेक ओ ब्रायन (Derek O’ Brien) भी अगरतला पहुंचे. यहां उन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर मोदी-शाह पर हमला बोला. डेरेक ने कहा कि तमाम हथकंडे अपनाने के बावजूद बंगाल में बुरी तरह हारने के बाद भी ये दोनों इस तरह की हरकत कर रहे हैं, सोच रहे हैं डरा धमका लेंगे. डेरेक बोले कि त्रिपुरा से लेकर पूरे देश और यहां तक कि अब तो संसद में भी ये लोग विरोधियों को दबाने में लगे हैं. लेकिन वो ये जान लें कि हम डरने वाले नहीं, उनसे डट कर मुकाबला करेंगे.