Judge की कुर्सी से चुनावी मैदान तक...हाई कोर्ट के पूर्व जज ने दाखिल किया नामांकन

Updated : May 04, 2024 18:28
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Editorji News Desk

Abhijit Gangopadhyay Files Nomination: कलकत्ता हाई कोर्ट के पूर्व जज जस्टिस अभिजीत गंगोपाध्याय (Abhijit Gangopadhyay) चुनावी मैदान में उतरे हैं और अपनी जीत के लिए पूरी ताकत झोंक रहे हैं. शनिवार को उन्होंने पश्चिम बंगाल की पूर्वी मेदिनीपुर सीट से अपना नामांकन भी दाखिल कर दिया. इस दौरान उनकी पत्नी भी उनके साथ रहीं.

BJP ने बनाया है उम्मीदवार 
बता दें कि कलकत्ता हाई कोर्ट के पूर्व जज जस्टिस अभिजीत गंगोपाध्याय को बीजेपी ने टिकट दिया है. कलकत्ता हाई कोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस अभिजीत गंगोपाध्याय ने पांच मार्च 2024 को अपने पद इस्तीफा दे दिया. इसके बाद वो बीजेपी में शामिल हो गए थे. 

क्यों सुर्खियों और विवादों में रहे अभिजीत गंगोपाध्याय ?

जस्टिस गंगोपाध्याय हाई कोर्ट में अपने फैसले के लिए काफी सुर्खियों में रहे हैं. कोलकाता हाई कोर्ट में उनकी पारी साल 2018 से शुरू होती है. तब से लेकर वे कई बार चर्चा में आए. 

साल 2022 में उन्होंने ही CBI और ED को पश्चिम बंगाल में कथित स्कूल नौकरियों में घोटाले की जांच करने का निर्देश दिया था. उन्होंने अपने इस फैसले में 32,000 शिक्षकों की बहाली को रद्द करने का आदेश दिया था. हालांकि बाद में डिवीजन बेंच ने इस फैसले पर रोक लगा दिया था. 

टीवी पर इंटरव्यू देकर किया था हैरान
पिछले साल सितंबर में जस्टिस गंगोपाध्याय तब चर्चा में आए जब उन्होंने एक न्यूज चैनल को इंटरव्यू दिया. हाईकोर्ट के जज द्वारा एक चैनल को इंटरव्यू दिए जाने का ये एक अनोखा मामला था. इस इंटरव्यू में उन्होंने शिक्षकों की नियुक्ति में कथित घोटाले से जुड़े केस के पेंडिंग रहने का मुद्दा उठाया था. उन्होंने इस इंटरव्यू में सत्तारुढ़ तृणमूल कांग्रेस नेतृत्व पर सवाल उठाए थे.

सुप्रीम कोर्ट ने जताई थी आपत्ति
इस इंटरव्यू पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि जजों को इस तरह इंटरव्यू नहीं देना चाहिए. चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड ने इस मामले में कलकत्ता हाईकोर्ट रजिस्ट्री से जवाब तलब किया और बंगाल में शिक्षकों की नियुक्ति में कथित घोटाले का केस दूसरे जज को सुनने का आदेश दिया. इस मामले में तब राज्य की न्यायिक बिरादरी में बड़ी चर्चाएं हुई थी. 

बता दें कि उच्च न्यायालय में वकालत करने वाले न्यायमूर्ति गंगोपाध्याय 2 मई, 2018 को अतिरिक्त न्यायाधीश के रूप में कलकत्ता उच्च न्यायालय में शामिल हुए थे. हाई कोर्ट की वेबसाइट के अनुसार उन्हें 30 जुलाई, 2020 को स्थायी न्यायाधीश के रूप में प्रमोशन किया गया था. 

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Abhijit Gangopadhyay

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